देश। पिछले तीन सालों से कोरोना ने आफत मचाई हुई है। इधर कोरोना की चौथी लहर की आशंका के बीच वैज्ञानिकों ने ऐसे वायरस खोजे लिए हैं, जो पहले कभी नहीं देखे गए, न सुने गए। इनका नाम माइरसवायरस (Mirusvirus) है। लैटिन भाषा में माइरस का मतलब विचित्र (Strange) होता है, ये वायरस समुद्रों में प्लैंकटॉन्स (Planktons) को संक्रमित कर चुके हैं। आर्कटिक महासागर हो या अंटार्कटिक हर जगह ये वायरस मौजूद हैं। ये माइरसवायरस वायरसों के बड़े समूह डुप्लोडीएनएवीरिया (Duplodnaviria) का हिस्सा हैं।
वैज्ञानिकों के अनुसार ये माइरसवायरस डुप्लोडीएनएवीरिया और वैरीडीएनएवीरिया के बीच का हाइब्रिड वायरस है। फ्रेंच नेशनल सेंटर फॉर साइंटिफिक रिसर्च (CNRS) के साइंटिस्ट टॉम डेलमॉन्ट ने बताया है कि ये बेहद अलग वायरस है, इससे पहले हमने कभी ऐसा कोई वायरस नहीं देखा है, यह दो बड़े वायरस समूह का क्रॉसब्रीड है। एक तरफ तो हर्पिस वायरस और दूसरी तरफ जायंट वायरस। ये वायरस भी महामारी फैला सकते है।